(ब्यूरो कार्यालय)
उमरिया (साई)। मध्य प्रदेश के उमरिया जिले में बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व के पास तीन हाथियों ने दो लोगों की जान ले ली और एक व्यक्ति को घायल कर दिया। अधिकारियों ने बताया कि हाल ही में रिजर्व में 10 हाथियों की मौत के बाद वन विभाग इन हाथियों पर नजर रख रहा था।
अधिकारियों के अनुसार, रामरतन यादव की मृत्यु देवरा गाँव में हुई, जो बीटीआर से लगभग 10 किलोमीटर दूर है, जब वह शौच के लिए गए थे। वहीं, भैरव कोल की मृत्यु बीटीआर के बफर जोन में स्थित ब्रहे गाँव में हुई, और मालू साहू को बैंक गाँव में, जो रिजर्व के बाहर है, घायल पाया गया।
उमरिया के वन मंडल अधिकारी विवेक सिंह ने बताया कि यह पक्का करना मुश्किल है कि ये हाथी हाल ही में मरे हुए हाथियों के ही झुंड का हिस्सा हैं या नहीं।
हालांकि वन विभाग के सूत्रों के अनुसार संभावना है कि ये हाथी उस झुंड से नहीं हैं, बल्कि किसी अन्य झुंड के हो सकते हैं जो बाजरे की तलाश में उस क्षेत्र में आए थे।हाल ही में 25 हाथियों का एक झुंड बाजरे की तलाश में इस क्षेत्र में आया था और उन्हें यहाँ से खदेड़ दिया गया था। वे सड़क पार कर कोर एरिया में प्रवेश कर रहे थे, लेकिन तीन हाथी शायद झुंड से अलग हो गए और लोगों की मौत का कारण बने,” बीटीआर के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया, 29 अक्टूबर को, बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व के खितौली रेंज में संखानी और बाकेली के पास चार जंगली हाथी मृत पाए गए थे। इसके अगले दिन चार और हाथियों की मौत हो गई, और 31 अक्टूबर को दो और हाथी मरे हुए पाए गए। पोस्टमार्टम से पता चला कि इन हाथियों के पेट में बाजरा था और इसमें कुछ जहरीले पदार्थ के संकेत भी मिले हैं।
एक शीर्ष वन अधिकारी ने बताया कि क्षेत्र से और हाथियों से नमूने इकट्ठे कर यूपी के बरेली स्थित आईसीएआर-इंडियन वेटरिनरी रिसर्च इंस्टीट्यूट और एमपी के सागर की फॉरेंसिक लैब में भेजे जाएंगे।इसके अलावा, राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण और मध्य प्रदेश की राज्य टाइगर स्ट्राइक फोर्स भी इन मौतों की जाँच कर रही है।
मुख्यमंत्री मोहन यादव ने वन राज्य मंत्री दिलीप अहिरवार, वन विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव अशोक बर्नवाल और राज्य के हेड ऑफ फॉरेस्ट फोर्स असीम श्रीवास्तव को उमरिया जिले का दौरा करने और हाथियों द्वारा हुई मौतों पर रिपोर्ट देने का निर्देश दिया है। साथ ही सरकार ने मृतकों के परिवारों को 8 लाख रुपये की सहायता राशि देने की घोषणा की है।