कवि सम्मेलन में कवियों का किया सम्मान

 

(ब्यूरो कार्यालय)

सिवनी (साई)। साहित्यकार समाज का दर्पण होता है और समाज को दिशा देने का काम करता है एक अच्छे समाज के लिये उस समाज में साहित्यकार की महती भूमिका होती है। निश्चित ही जिले के अमन, चैन, शांति के वातावरण एवं गंगा जमुनी परंपरा को साहित्यकारों ने ही बनाये रखा है। उनके द्वारा लिखा गया साहित्य दर्पण की तरह कार्य करता है।

उक्त उदगार चौपाटी में जिला काँग्रेस कमेटी द्वारा महात्मा गांधी जयंति पखवाड़ा के अवसर पर आयोजित राष्ट्रीय गीत एवं कवि सम्मेलन के अवसर पर जिला काँग्रेस कमेटी के अध्यक्ष राजकुमार खुराना ने व्यक्त किये।

इस अवसर पर जिला काँग्रेस के सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रभारी मोहन चंदेल ने बताया कि सिवनी में महात्मा गांधी का 02 बार आगमन हुआ और यहाँ की जेल का इतिहास राष्ट्रीय आंदोलन के इतिहासों के स्वर्ण अक्षरों में लिखा गया है। सिवनी में ही राष्ट्रीय आंदोलन की अमर कवियित्री सुभद्रा कुमारी चौहान का निधन हुआ था।

आयोजन के दौरान अध्यक्षता करते हुए वरिष्ठ कवि रमेश श्रीवास्तव ने महात्मा गांधी के दर्शन पर अपनी बात रखी। इसी तरह जगदीश तपिश ने देश के बंटवारे पर करारा व्यंग्य किया और भावुक हो गये। सूफी रियाज निदा ने भी महात्मा गांधी के व्यक्तित्व पर कुछ कलाम पेश किये।

मसूद आतिश ने भी शायरी एवं गजल के माध्यम से अपनी बात रखी। दादू अखिलेश श्रीवास्तव ने गीत के माध्यम से कार्यक्रम को नया मोड़ दिया। नरेन्द्र नाथ चट्टान ने व्यंग एवं गीत के माध्यम से गांधीजी के आदर्शाें को रखा। नरेन्द्र कौशल ने स्वरचित कविता से मंच को ऊंचाईयां प्रदान कीं।

जिले के ओज के प्रसिद्ध कवि सुरेन्द्र सिसोदिया ने बेटी एवं माटी पर अपनी कविता के माध्यम से लोगों को ताली बजाने को मजबूर कर दिया। संजय जैन संजू ने गांधी दर्शन तथा किसानों की दशा पर अपनी बात रखी। मिनहाज कुरैशी ने गजल के शेर रखे। कार्यक्रम का संचालन सिराज कुरैशी ने किया।